आम आदमी पार्टी (गुजरात) के बिल बोर्ड को डिजीटली एडिट कर उमसे सांप्रदायिक संदेश जोड़, भ्रामक सन्देश के साथ वायरल किया जा रहा है |

Communal False Politics

सोशल मीडिया पर आम आदमी पार्टी (आप) की गुजरात विंग द्वारा लगाए गए एक बिलबोर्ड की तस्वीर के माध्यम से दावा किया जा रहा है कि बोर्ड में लिखा गया है कि लोगों को हिंदू रीति-रिवाजों को छोड़ देना चाहिए और नमाज पढ़ना शुरू कर देना चाहिए | इस बिल बोर्ड में गुजराती में बिल बोर्ड पर लिखा है कि 

“गुजरात नमाज़ पड़ेगा | भगवत सप्ताह और सत्य नारायण कथा और पूजा जैसी फालतू प्रथा छोड़ो |” 

इस बिल बोर्ड में केजरीवाल के साथ एक मुस्लिम नेता की तस्वीर भी नज़र आ रही है | आम आदमी पार्टी गुजरात के अध्यक्ष गोपाल इटालिया फोटो में एक मुस्लिम व्यक्ति की तरह लग रहे हैं | इस तस्वीर को एक सांप्रदायिक रंग देकर फैलाया जा रहा है |

इस तस्वीर की जाँच करने पर हमने पाया कि वायरल तस्वीर को डिजिटली एडिट कर सोशल मीडिया पर फैलाया गया है |

पोस्ट के शीर्षक में लिखा गया है कि 

“आम आदमी पार्टी की गुजरात की कैंपेन | लिखा है कि  गुजरात नमाज़ पड़ेगा | भगवत सप्ताह और सत्य नारायण कथा और पूजा जैसी फालतू प्रथा छोड़ो |”

May be an image of 3 people and text that says "#RenukaJain @RenukaJain6 An AamAadmiParty campaign in Gujarat It reads: "Gujarat padhega namaz. Bhagwat saptah aur Satyanarayan katha/puja jaisi faltu pratha chhodo." Translate Tweet નમાજ પઢશે ગુજરાત 7070 23 7070 ભાગવત સપ્તાહ અને સત્યનારાપણની જેવી ફાલતુ પ્રવૃત્તિ છોડો આમ આદમી પાર્ટી 9:59 pm.11 Jul 21 Twitter for iPhone"

फेसबुक पोस्ट | आर्काइव लिंक 

अनुसंधान से पता चलता है कि…

फैक्ट क्रेसेंडो ने पाया है कि आम आदमी पार्टी गुजरात के बिल बोर्ड की तस्वीर को डिजिटली एडिट किया गया है, बिल बोर्ड की मूल तस्वीर को एडिट कर सांप्रदायिक सन्देश जोड़ा गया है |

जाँच की शुरुवात हमने इस तस्वीर को गूगल पर रिवर्स इमेज सर्च करने से की, जिसके परिणाम से हमें आम आदमी पार्टी के विभिन्न जिला विंगों द्वारा स्थापित मूल बिलबोर्ड की कई तस्वीरें मिलीं, जो २५ जून, २०२१ को प्रकाशित की गई थी | यह बिल बोर्ड सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे बिल बोर्ड की मूल तस्वीर का है | मूल बिलबोर्ड को आप के मेहसाना, भरूच और डांग के ट्विटर हैंडल से अपलोड किया गया है |

आर्काइव लिंक 

नीचे आप मूल तस्वीर और वायरल हो रही तस्वीर की तुलना देख सकते है जिससे यह स्पष्ट होता है कि वायरल हो रही तस्वीर को डिजिटली एडिट कर एक गलत सांप्रदायिक संदेश के साथ साझा किया गया है | मूल बिलबोर्ड में लिखा है,अब गुजरात बदल जाएगा” (હવે બદલાશે ગુજરાત) जिसे “गुजरात नमाज पढ़ेगा” (નમાજ પઢશે ગુજરાત) पर बदल दिया गया है। आगे लाइन, “भागवत सप्ताह और सत्यनारायण कथा जैसी फालतू प्रथा छोड़ो” (ભાગવત र रવૃત્તિ ) को नीचे दी गयी खाली जगह पर एडिट कर जोड़ा गया है | यह लाइन मूल तस्वीर पर उपलब्ध नही है | एडिट की हुई तस्वीर में हमें यह भी नज़र आया कि आम आदमी पार्टी के गुजरात अध्यक्ष गोपाल इटालिया की शक्ल पर दाढ़ी और एक अलग पोशाक मूल तस्वीर को एडिट कर जोड़ा गया है | मूल बिलबोर्ड पर, हम देख सकते हैं कि वह क्लीन शेव है और उन्होंने शर्ट पहनी हुई है |

इसके बाद हमने पगड़ी पहने दाढ़ी वाले व्यक्ति की तस्वीर पर रिवर्स इमेज सर्च किया जिससे हमें पता चला कि वह वास्तव में इराकी कुर्द इस्लामी नेता मुल्ला क्रेकर की तस्वीर है | मुल्ला क्रेकर की तस्वीर को डिजिटल रूप से एडिट कर इटालिया के चेहरे पर चिपका दिया गया है जिसे गलत तरीके से सांप्रदायिक रूप देते हुए फैलाया जा रहा है |

आम आदमी पार्टी गुजरत के आधिकारिक ट्विटर अकाउंट से हमें एक ट्वीट मिला जिसमे लिखा गया है कि “हम चाहते हैं कि गुजरात की राजनीति हिन्दू – मुसलमान , धर्म – जाति, भारत – पाकिस्तान से हटकर सरकारी शिक्षा, स्वास्थ्य, रोज़गार, अस्पताल, बिजली एवं अन्य सुविधाएं पर आ जाए !! #હવે_બદલાશે_ગુજરાત |” इस ट्वीट में वायरल तस्वीर को साझा करते हुए फर्जी बताया गया है |

आर्काइव लिंक 

निष्कर्ष: तथ्यों की जाँच के पश्चात हमने उपरोक्त पोस्ट को गलत पाया है | सोशल मीडिया पर वायरल हो रही तस्वीर को डिजिटली एडिट कर एक सांप्रदायिक संदेश से साथ साझा किया जा रहा है |
फैक्ट क्रेसेंडो द्वारा किये गये अन्य फैक्ट चेक पढ़ने के लिए क्लिक करें :

१. ज्योतिरादित्य सिंधिया के दो वर्ष पुराने वीडियो को वर्तमान में हुये केंद्रीय मंत्रालय फेरबदल से जोड़ वायरल किया जा रहा है।

२. २०१९ की बांग्लादेश में के ईद-ए- मिलाद- उन नबी के जलूस की तस्वीर को उत्तर प्रदेश में ओवैसी के रैली के नाम से फैलाया जा रहा है|

३. सुप्रीम कोर्ट के वकील ऍड. भानू प्रताप सिंह के भाषण के वीडियो को हिमालया कंपनी के मालिक का बता वायरल किया जा रहा है।

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Title:आम आदमी पार्टी (गुजरात) के बिल बोर्ड को डिजीटली एडिट कर उमसे सांप्रदायिक संदेश जोड़, भ्रामक सन्देश के साथ वायरल किया जा रहा है |

Fact Check By: Aavya Ray 

Result: False