१३ मई २०१९ को अरुण सिंह चौकीदार नामक एक फेसबुक यूजर ने तस्वीर पोस्ट की | तस्वीर के शीर्षक में लिखा गया है कि “भाजपा प्रत्याशी और नेताजी सुभाष चन्द्र बोस के पोते चंद्र बोस के घर के पास बने नेताजी की मूर्ति पर TMC वालों ने कालिख पोत दी.अब हद पार कर गयी ममता बनर्जी |” इस तस्वीर में हम नेताजी सुभाष चंद्र के मूर्ति पर कालिख पुती हुई देख सकते है | तस्वीर के माध्यम से दावा किया जा रहा है कि तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने सुभाष चंद्र के पोते के घर के सामने रखी मूर्ति पर कालिख पोती | यह तस्वीर सोशल मीडिया पर काफ़ी चर्चा में है | फैक्ट चेक किये जाने तक यह तस्वीर ने २६० प्रतिक्रियाएं प्राप्त कर चुकी थी |
क्या वास्तव में भाजपा प्रत्याशी नेताजी सुभाष चंद्र बोस के पोते के घर के सामने बने नेताजी की मूर्ति पर तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने कालिख पोती? जानिए सच |
संशोधन से पता चलता है कि..
जांच की शुरुआत हमने इस तस्वीर का स्क्रीनशॉट लेकर गूगल रिवर्स इमेज सर्च करने से की | परिणाम से हमें १६ अगस्त २०१७ को डेक्कन हेराल्ड द्वारा प्रकाशित खबर मिली | खबर में लिखा गया है कि पश्चिम बंगाल में नेताजी की प्रतिमा को उपद्रवियों ने नुकसान पहुंचाया और कोयले से मूर्ति पर कालिख पोता | खबर के अनुसार नेताजी की प्रतिमा को स्वतंत्रता दिवस समारोह के दौरान पंचरा ग्राम पंचायत कार्यालय परिसर में स्थापित किया जाना था | पुलिस ने कहा कि स्वतंत्रता दिवस की सुबह जब पंचायत कार्यालय का गेट खोला गया तो पाया गया कि मूर्ति को कोयले की टार से चेहरे को नुकसान पहुंचाया गया था | मूर्ति को नुकसान पहुंचाने के लिए अज्ञात व्यक्तियों के खिलाफ खैरासोल पुलिस थाने में शिकायत दर्ज की गई थी |
हमें यू-ट्यूब पर इस दावें से जुडी खबर मिली | ‘एएनआई न्यूज़’ द्वारा प्रसारित खबर में कहा गया है कि पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले के बीडीओ कार्यालय में कुछ अज्ञात व्यक्तियों ने स्वतंत्रता सेनानी नेताजी सुभाष चंद्र बोस की प्रतिमा पर काली स्याही फेकी |
इस खबर को एएनआई ने १५ अगस्त २०१७ को ट्वीट भी किया |
इसके पश्चात हमें डेक्कन हेराल्ड द्वारा दूसरी खबर मिली | इस खबर १६ अगस्त २०१७ को प्रकाशित किया गया था | खबर के अनुसार नेताजी के पोते सीके बोस ने ममता को दोषी ठहराया था और इस टीएमसी के गुंडों पर आरोप लगाया था | मूर्ति को नुकसान पहुंचाने के लिए अज्ञात व्यक्तियों के खिलाफ खैरासोल पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज की गई थी |
कई प्रमुख मीडिया संगठनों ने इस घटना को कवर किया | हालांकि, मीडिया रिपोर्टों में से किसी ने भी नहीं कहा कि गिरफ्तार किए गए लोग किसी भी राजनीतिक दल से जुड़े है | इस घटना की जांच अभी भी चल रही है और कालिख पोतने वाले अपराधियों के किसी राजनितिक दल से सम्बंधित होने के बारे में कोई पुख्ता जानकारी उपलब्ध नहीं है |
The New Indian Express | आर्काइव लिंक
निष्कर्ष: तथ्यों की जांच के पश्चात हमने उपरोक्त पोस्ट को गलत पाया है | यह घटना २०१७ को हुई थी और यह घटना ब्लॉक डेवलपमेंट ऑफिसर के ऑफिस के सामने हुई थी | मीडिया रिपोर्टों के अनुसार किसी ने भी आरोपी को किसी राजनीतिक दल से सम्बंधित होने का दावा नहीं किया है |
Title:क्या बंगाल में तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ता ने नेताजी सुभाष चंद्र बोस के मूर्ति पर कालिख पोती?
Fact Check By: Drabanti GhoshResult: False
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