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लोगों से माफी मांग रहे परेश रावल का यह वीडियो अभी का नहीं, पुराना है।

यह वीडियो पांच साल पुराना है। इसका हाल ही में हुई किसी भा घटना से कोई संबन्ध नहीं है।

गुजरात में विधानसभा चुनाव के दौरान अभिनेता व भाजपा नेता परेश रावल वलसाड में भाजपा रैली में प्रचार कर रहे थे। उस दौरान वे गैस सिलेंडर को लेकर बात कर रहे थे। उन्होंने बांगलादेशियों और रोहिंग्या के लोगों के बारें में बात करते हुये कहा कि, “गैस सिलेंडर महंगे हैं, लेकिन कीमतें कम हो जायेगी। लोगों को रोजगार भी मिलेगा, लेकिन तब क्या होगा जब रोहिंग्या शरणार्थी और बांग्लादेशी, दिल्ली की तरह आपके पास रहना शुरू कर देंगे। गैस सिलेंडर का आप क्या करेंगे? बंगालियों के लिये मछली पकायेंगे?”

उनके इस बयान को लेकर काफी विवाद चल रहा है। इसको जोड़कर इस वीडियो को शेयर किया जा रहा है। दावा किया जा रहा है कि उनके इस बयान के बाद अभिनेता परेश रावल गुजरात में चुनाव प्रचार करने गये तो लोगों ने उन्हें भगा दिया। वे लोगों से माफी मांगते रहे पर किसी ने उनकी नहीं सुनी।

वायरल हो रहे पोस्ट के साथ यूज़र ने लिखा है कि, “गुजरात में बीजेपी का प्रचार कर रहे अभिनेता परेश रावल को जनता ने लौटाया! बीजेपी नेताओं के साथ परेश रावल माफ़ी मांगते रहे पर वोटरों ने एक नहीं सुनी!” (शब्दश:)

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अनुसंधान से पता चलता है कि…

इस वीडियो की जाँच हमने यूट्यूब पर कीवर्ड सर्च कर की। परिणाम में हमें यही वीडियो वी.टी.वी गुजराती के वैरिफाइड चैनल पर 26 नवंबर 2017 को प्रसारित किया हुआ मिला। इसमें बताया गया है कि राजपूत समाज के लोग परेश रावल से नाराज़ थे। इस वजह से भरूच में उन्हें रोका गया व लोगों ने उनसे माफी मांगने को कहा। परेश रावल ने पूरे राजपूत समाज से माफी मांगी। आप नीचे दी गयी रिपोर्ट में देख सकते है। 

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26 नवंबर 2017 को ए.एन.आई द्वारा किये गये ट्वीट में भी आप वायरल वीडियो की तस्वीर को देख सकते है। उसमें भी यही बताया गया है कि परेश रावल ने राजपुतों से उनके बयान के लिये माफी मांगी है।

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इससे हम समझ गये कि यह वीडियो अभी का नहीं बल्की पुराना है।

आगे बढ़ते हुये हमें 26 नवंबर 2017 को पत्रिका के वेबसाइट इस बारें में खबर प्रकाशित की हुई मिली। उसमें बताया है कि राजकोट के रिंग रोड पर स्थित भाजपा कार्यलय के उद्घाटन समारोह में भाषण देते हुये परेश रावल के बयान पर राजपूत समाज उनसे नाराज़ हो गया था। उन्होंने कहा था कि सरदार पटेल ने देश को एक करने के लिये बंदर जैसे रजवाड़ो को एक कर दिया था। इसके बाद राजपूत समाज के लोग उनसे नाराज़ हो गये थे। उनका कहना था कि परेश रावल ने राजपूत राजाओं को बंदर कहा। इसके बाद अभिनेता ने प्रेस कांफ्रेंस बुलाकर स्पष्टिकरण भी दिया था। उनका कहना था कि उन्होंने उनके बयान में हैदराबाद के निजामों के बारें में बात की थी। 

आपको बता दें कि हाल ही में बांगलादेशियों व रोहिंग्याओं के संबन्ध में दिये गये बयान पर भी परेश रावल ने ट्वीट कर स्पष्टिकरण दिया है और माफी भी मांगी है। आप नीचे दिये गये ट्वीट में देख सकते है।

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निष्कर्ष: तथ्यों की जाँच के पश्चात हमने पाया कि वायरल हो रहे वीडियो के साथ किया गया दावा गलत है। यह वीडियो वर्ष 2017 का है। इसमें परेश रावल राजपूत समाज से माफी मांग रहे है। इसका वर्तमान में हुई किसी भी घटना से कोई संबन्ध नहीं है।

Title:लोगों से माफी मांग रहे परेश रावल का यह वीडियो अभी का नहीं, पुराना है।

Fact Check By: Samiksha Khandelwal

Result: False

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