17 मार्च 2025 को, ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (AIMPLB) ने नई दिल्ली के जंतर-मंतर पर वक्फ (संशोधन) विधेयक 2024 के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया व इसे वापस लेने की मांग की। इस बीच सोशल मीडिया पर भीड़ पर लाठीचार्ज करती पुलिसकर्मियों का एक वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है। वीडियो को शेयर कर दावा किया जा रहा है कि उत्तर प्रदेश में वक्फ बिल का विरोध कर रहे लोगों पर पुलिस द्वारा लाठीचार्ज किया गया है।
वायरल वीडियो के साथ यूजर ने लिखा है- उत्तर प्रदेश में वक्फ बिल के खिलाफ एकत्र हुए लोगों पर पुलिस ने किया लाठीचार्ज।।
अनुसंधान से पता चलता है कि…
पड़ताल की शुरुआत में हमने वायरल वीडियो के कुछ कीफ्रेम्स को रिवर्स इमेज सर्च किया। परिमाम में हमें जनवरी 2020 का एक फ़ेसबुक पोस्ट मिला ।
इस पोस्ट में दावा किया गया है कि यह उत्तर प्रदेश में CAA के विरोध के दौरान पुलिस द्वारा किए गए लाठीचार्ज का है। इससे ये तो स्पष्ट है कि वायरल वीडियो हाल का नहीं है।
मिली जानकारी की मदद लेते हुए आगे की जांच करने पर हमें हिंदुस्तान लाइव के आधिकारिक चैनल पर 20 दिसंबर 2019 को प्रसारित एक रिपोर्ट मिली। इसमें 1.07 मिनट से लेकर आगे तक आप वायरल हो रहे वीडियो को देख सकते है।
खबर में बताया गया है कि गोरखपुर में शुक्रवार को जुम्मे की नमाज़ के बाद घंटाघर क्षेत्र में स्थित जामा मस्जिद से निकले लोगों ने उनके हाथ में काली पट्टी बांधकर विरोध प्रदर्शन किया। इस दौरान उन्होंने पत्थर चला दिया, जिससे माहौल बिगड़ गया। फिर पथराव होने पर इसको नियंत्रण में लाने के लिये पुलिस ने आंसु गैस के गोले छोड़े। इस बीच कुछ पुलिसकर्मी और प्रदर्शनकारी भी घायल हुये थे।
जांच में हमने वायरल वीडियो और न्यूज में दिख रहे जगह की तुलना करने पर, हमने वायरल वीडियो और न्यूज रिपोर्ट में दिखाए गए स्थान में समानताएं देखीं, जिन्हें नीचे देखा जा सकता है।
19 दिसंबर 2019 को दैनिक भास्कर की वेबसाइट पर प्रकाशित खबर के अनुसार उस समय उत्तर प्रदेश के 18 जिलों में सीएए के खिलाफ प्रदर्शन किया गया था। उस दौरान पुलिस ने जगह- जगह पर पथराव किये थे। पुलिस के वाहनों की तोड़फोड़, आगजनी हुई। सरकार ने 20 जिलों में इंटरनेट बंद किया। 3 हजार से ज्यादा लोगों को हिरासत में लिया गया था।
वक्फ संशोधन बिल-
अगले हफ्ते लोकसभा में वक्फ (संशोधन) विधेयक पेश किया जाएगा। माना जा रहा कि इसे लेकर सरकार और विपक्ष के बीच फिर से टकराव हो सकता है। ज्यादातर विपक्षी पार्टियां इस विधेयक का विरोध कर रही हैं। कैबिनेट ने वक्फ (संशोधन) विधेयक में कुछ बदलावों को मंजूरी दी है। ये बदलाव संसदीय पैनल ने सुझाए थे। अब इस विधेयक पर लोकसभा में चर्चा होगी और इसे पास किया जाएगा।
यह विधेयक अगस्त 2024 में लोकसभा में अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री किरेन रिजिजू ने पेश किया था। इसके बाद इसे JPC (संयुक्त संसदीय समिति) को भेज दिया गया था। संसदीय पैनल ने बहुमत से रिपोर्ट को अपनाया। लेकिन पैनल में शामिल विपक्ष के 11 सांसदों ने इस रिपोर्ट पर आपत्ति जताई थी। उन्होंने अपनी असहमति भी दर्ज कराई थी।
निष्कर्ष- तथ्य-जांच के बाद हमने पाया कि, गोरखपुर में 2019 के सीएए विरोध प्रदर्शन का वीडियो मार्च 2025 में वक्फ बिल प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज का बताकर फर्जी दावे से वायरल किया जा रहा है।
Title:सीएए विरोध प्रदर्शन के पुराने वीडियो को वक्फ संशोधन बिल के विरोध का बताकर वायरल…
Fact Check By: Sarita SamalResult: False
बीजेपी नेता धीरज ओझा का वायरल ये वाला वीडियो पुराना है, वीडियो हाल-फिलहाल में हुई…
सनातन धर्म को 'गंदा धर्म' बताने के दावे से ममता बनर्जी का वायरल वीडियो अधूरा…
हैदराबाद सेंट्रल यूनिवर्सिटी के पास गाचीबोवली में 400 एकड़ जंगल की कटाई को लेकर हैदराबाद…
सोशल मीडिया पर एक शख्स को पीटते हुए पुलिसकर्मी की तस्वीर तेजी से वायरल हो…
वक्फ संशोधन विधेयक राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की मंजूरी के बाद कानून बन चुका है। इसको…
वायरल वीडियो वक़्फ बिल के संसद से पारित होने से पहले हुई जेपीसी की मीटिंग…