अखिलेश यादव और डिंपल यादव ने अतीक और अशरफ से कब्र को नमन नहीं किया, वायरल तस्वीर गलत संदर्भ में प्रचारित है।
यह तस्वीर 2022 की है जब अखिलेश यादव और उनकी पत्नी अपने पिता व उत्तर प्रदेश के पूर्व सीएम मुलायम सिंह यादव की समाधि स्थल पर श्रद्धांजिल दे रहे थें। उसी तस्वीर को फेक दावे से शेयर किया जा रहा है।
देश में होने वाले लोकसभा चुनाव से पहले सियासी दलों व राजनेताओं से जुड़े झूठे भ्रामक व फर्जी पोस्टों को तेज़ी से प्रचारित किया जा रहा है। इसी पृष्ठभूमि में सपा प्रमुख अखिलेश यादव और उनकी पत्नी डिंपल यादव की एक तस्वीर सोशल मंचों पर साझा किया जा रहा है। जिसमें दोनों किसी जगह पर जा कर श्रद्धांजलि दे रहे हैं। यह तस्वीर इस दावे से वायरल है कि, अखिलेश यादव और उनकी पत्नी डिंपल यादव ने पुलिस हिरासत में मारे गए खूंखार माफिया अतीक और अशरफ के कब्र पर जाकर श्रद्धांजलि दे दी। वायरल तस्वीर इस कैप्शन के साथ है….
एनकाउंटर में ढेर हुए अतीक अहमद और अशरफ की कब्र पर उनके बेटे - बहू अखिलेश और डिंपल यादव,हिंदुओं में जयचंदो की कमी नहीं है।
अनुसंधान से पता चलता है कि…
हमने पोस्ट की पड़ताल के लिए वायरल तस्वीर को रिवर्स इमेज सर्च से ढूंढा। परिणाम में हमें अखिलेश यादव के आधिकारिक एक्स हैंडल पर 14 नवंबर 2022 को एक पोस्ट मिला, जिसमें वायरल तस्वीर और उससे मिलती हुई अन्य तस्वीर दिखाई दे रही है।
तस्वीर पोस्ट करते हुए ट्वीट किया गया है, मैनपुरी उपचुनाव में सपा के प्रत्याशी के रूप में दरअसल नेताजी की समाजवादी आस्थाओं का ही नामांकन हो रहा है। जिस प्रकार दलगत राजनीति से ऊपर उठकर सभी दलों के लोगों और जनमानस ने सैफई आकर नेताजी को श्रद्धांजलि दी है, उसका सच्चा परिणाम ये होगा कि सपा प्रत्याशी की ऐतिहासिक जीत होगी।
इसी पोस्ट में इस जगह पर अलग एंगल से ली गई तस्वीर में समाधि स्थल पर मुलायम सिंह यादव की रखी तस्वीर को देखा जा सकता है। यहां पर अखिलेश और डिंपल हाथ जोड़ कर प्रणाम करने की मुद्रा में नज़र आ रहे हैं।
फिर हमें कुछ मीडिया रिपोर्ट्स मिली जिसके अनुसार मुलायम सिंह यादव के निधन के बाद उनकी बहू डिंपल यादव ने इस सीट से सपा प्रत्याशी के तौर पर चुनाव लड़ा था। इसी दौरान दोनों उप-चुनाव के लिए नामांकन से पहले मुलायम सिंह यादव की समाधि पर गए थें और उन्हें श्रद्धांजलि दी थी। उप-चुनाव में डिंपल इस सीट से विजयी रही थी।
इसी जानकारी के साथ न्यूज़ 18 की वेबसाइट पर वायरल तस्वीर के साथ रिपोर्ट्स प्रकाशित है। हमने दैनिक जागरण की वेबसाइट पर भी इस खबर को देखा। साथ ही आजतक के यूट्यूब चैनल पर इससे जुड़ी वीडियो रिपोर्ट देखें जा सकते हैं।
निष्कर्ष-
तथ्यों के जांच के पश्चात यह स्पष्ट हो जाता है कि वायरल तस्वीर के साथ किया जा रहा दावा भ्रामक है। मुलायम सिंह यादव के स्मारक की फोटो को अतीक अहमद की कब्र का बताकर झूठे दावे से फैलाया जा रहा है।
Title:अखिलेश यादव और डिंपल यादव ने अतीक और अशरफ से कब्र को नमन नहीं किया, वायरल तस्वीर गलत संदर्भ में प्रचारित है।
Fact Check By: Priyanka SinhaResult: False