किसान नेता प्रीतम सिंह की संगरूर में मौत पुलिस की लाठीचार्ज में नहीं हुई थी। प्रदर्शनकारियों द्वारा लापरवाही से चलाए जा रहे ट्रैक्टर ट्रॉली ने किसान की जान ली और एक पुलिस इंस्पेक्टर को भी घायल किया।

स्ट्रेचर पर लेटे एक बेहोश घायल बुजुर्ग व्यक्ति की तस्वीरें सोशल मीडिया पर किया जा है। जिसके साथ ये दावा है कि किसानों के विरोध प्रदर्शन के दौरान पुलिस की लाठीचार्ज हुई जिसमें किसान नेता प्रीतम सिंह की संगरूर में मौत हो गई।

वायरल पोस्ट के साथ यूजर ने लिखा है- आज पुलिस की लाठीचार्ज के कारण किसान नेता प्रितम सिंह शहीद हो गये,हम पंजाब में किसानों पर लाठीचार्ज की कड़े शब्दों में निन्दा करतें हैं,किसान अपने हक के लिए चण्डीगढ़ घेराव करने जा रहे थे।

ट्विटर

अनुसंधान से पता चलता है कि…

पड़ताल में हमने अलग अलग की-वर्ड का इस्तमाल कर गूगल में वायरल खबर ढूंढने की कोशिश की। परिणाम में हमें कुछ मीडिया रिपोर्ट मिली। आर.भारत न्यूज में प्रकाशित खबर के अनुसार संगरूर जिले में 21 अगस्त को किसानों के साथ हुई झड़प में ट्रैक्टर-ट्रॉली से कुचलकर एक व्यक्ति की मौत हो गई और कम से कम पांच पुलिसकर्मी घायल हो गए।

अधिकारियों ने बताया कि मरने वाला व्यक्ति एक किसान था, जो जिले के लोंगोवाल इलाके में विरोध प्रदर्शन में भाग ले रहा था, इस दौरान पुलिस प्रदर्शनकारियों को राष्ट्रीय राजमार्ग और एक टोल प्लाजा को अवरुद्ध करने से रोकने की कोशिश कर रही थी।

अन्य एक खबर के मुताबिक पुलिस ने किसान संगठन के नेताओं को लोंगोवाल में रोकने की कोशिश की। मौके से पुलिस ने भारतीय किसान यूनियन आज़ाद के नेता जसविंदर सिंह लोंगोवाल को हिरासत में ले लिया। जिसके बाद लोंगोवाल थाने के बाहर किसानों ने जमकर विरोध किया।

भारतीय किसान यूनियन आजाद के नेताओं और लोंगोवाल पुलिस के बीच झड़प के दौरान 2 किसान नेता और एक पुलिस इंस्पेक्टर घायल हो गए। जिसमें एक किसान की पटियाला में इलाज के दौरान मौत हो गई। किसानों ने मांगों को लेकर 16 किसान संगठनों ने चंडीगढ़ में बड़े पैमाने पर धरने का आह्वान किया था।

घटना में एक इंस्पेक्टर भी जख्मी

बता दें कि किसानों और पुलिस के बीच हुई झड़प में पंजाब पुलिस के इंस्पेक्टर दीपिंदरपाल सिंह भी जख्मी हुए हैं। जिन्हें इलाज के लिए सिविल अस्पताल में भर्ती करवाया गया। घायल किसान नेता प्रीतम सिंह को इंदिरा अस्पताल, पटियाला रेफर कर दिया गया था। अब प्रीतम सिंह की इलाज के दौरान मौत हो गई।

संगरूर पुलिस ने ट्वीट कर स्पष्ट किया कि वायरल दावा गलत है। किसान नेता प्रीतम सिंह की संगरूर में पुलिस लाठीचार्ज के कारण मौत नहीं हुई है। गवाहों और वीडियो के अनुसार प्रदर्शनकारियों द्वारा मृतक को लापरवाही से चलाए जा रहे ट्रैक्टर ट्रॉली ने कुचल दिया था। इस में एक पुलिस इंस्पेक्टर भी गंभीर रूप से घायल हुआ है।

वहीं संगरूर एसएसपी संरेंद्र लांबा ने कहा कि ट्रैक्टर-ट्रॉली ने बुजुर्ग किसान प्रीतम सिंह को कुचल दिया जिससे उनके पैर में चोटें आयीं। इसके बाद उन्हें इलाज के लिए तुरंत अस्पताल ले जाया गया। बाद में पटियाला रेफर कर दिया गया और पटियाला अस्पताल ले जाते समय उसकी मौत हो गई। ये बहुत दुर्भाग्यपुर्ण है। पुलिस द्वारा कोई लाठीचार्ज नहीं किया गया, प्रदर्शनकारियों ने बैरिकेड को तोड़ कर आगे बढ़ते रहें।

निष्कर्ष- तथ्य-जांच के बाद, हमने पाया कि किसान नेता प्रीतम सिंह की संगरूर में पुलिस लाठीचार्ज के कारण मौत हो जाने का दावा गलत है। किसान नेता की मौत लापरवाही से चलाए जा रहे ट्रैक्टर ट्रॉली की तरफ से कुचल दिए जाने से हुई। इस हादसे में एक पुलिस इंस्पेक्टर भी गंभीर रूप से घायल हुआ है।

Avatar

Title:क्या संगरूर में पुलिस लाठीचार्ज के कारण किसान नेता प्रीतम सिंह की मौत हुई?

Written By: Sarita Samal

Result: False