वीडियो फरवरी 2021 में चमोली जिले में एक ग्‍लेशियर टूटने से हुई बाढ़ का है। उसी वीडियो हाल का बता कर झूठ फैलाया जा रहा है।

इन दिनों उत्तराखंड में बारिश के कारण कई इलाकों में खतरा मंडरा रहा है। कहीं पर कई जगहों का संपर्क जिला मुख्‍यालय से कट गया है। तो कई जगहों पर बाढ़ और भूस्खलन को लेकर अलर्ट जारी किया गया है। भारी बारिश के चलते नदियों का जलस्तर बढ़ा है जिसको लेकर शासन व प्रशासन सतर्क हैं। इसी सन्दर्भ में सोशल मीडिया पर भयंकर बाढ़ के दृश्य को दिखाता हुआ एक वीडियो वायरल हो रहा है। वीडियो में हम देख सकते हैं कि किस प्रकार से एक नदी में पानी का सैलाब उफान मार रहा है जो काफी डरावना सा लग रहा है। यूज़र ने वीडियो के साथ दावा किया है कि ये अभी का वीडियो का है। जहां पर ऋषि गंगा और तपोवन का एनटीपीसी बांध टूटने से भयंकर बाढ़ के हालत बन गए। वीडियो के साथ कैप्शन में लिखा गया है कि….

#सावधान...

ऋषि गंगा और तपोवन का एनटीपीसी का बांध टूट गया है मित्रों, शाम तक पानी चमोली l कर लेगा, अभी हरिद्वार और ऋषिकेश का प्रोग्राम बनाएं पढ़ने के बाद आगे भी शेयर करें मित्रों .

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अनुसंधान से पता चलता है कि…

हमने जांच की शुरुआत में वीडियो को सम्बंधित कीवर्ड्स के साथ खोजना शुरू किया। परिणाम में हमें 7 फरवरी 2021 को लाइव टुडे न्यूज़ चैनल द्वारा यूट्यूब पर एक वीडियो रिपोर्ट प्रसारित मिला। इसमें बताया गया था कि उतराखंड के चमोली में ग्लेशियर टूटने से जोशीमठ क्षेत्र में भारी तबाही हुई। जिससे तपोवन बैराज को काफी नुकसान हुआ था। अलर्ट जारी करते हुए लोगों को नदी किनारे से हटाने के निर्देश दिए गए थें।

इसके बाद हमें 7 फरवरी 2021 में इंडिया डॉट कॉम की वेबसाइट पर एक रिपोर्ट मिली। जिसमें चमोली के जोशीमठ में ग्लेशियर टूटने से आई भीषण बाढ़ की त्रासदी के बारे में खबर लिखी हुई थी। चमोली जिले के जोशीमठ में नंदा देवी ग्लेशियर के एक हिस्सा टूटने से धौली गंगा नदी में भीषण बाढ़ आई और पारिस्थितिकी रूप से नाजुक हिमालय के ऊपरी इलाकों में बड़े पैमाने पर तबाही मच गई। इसी रिपोर्ट में हमने वायरल वीडियो से मिलती हुई एक तस्वीर को पोस्ट किया हुआ देखा। इस प्रकार हम समझ गए कि वायरल वीडियो पुराना है अभी का नहीं।

आर्काइव

इस घटना के बारे में हमने आज तक, (आर्काइव) हिंदुस्तान (आर्काइव) और अमर उजाला (आर्काइव) की रिपोर्ट को भी प्रकाशित देखा। इन सभी के द्वारा साल 2021 फरवरी में चमोली में ग्लेशियर टूटने से आयी बाढ़ और तपोवन बांध के तबाह होने की खबरें प्रकाशित की गई थीं।

अपनी खोज में आगे बढ़ते हुए हमने देखा कि चमोली पुलिस ने अपने आधिकारिक एक्स अकाउंट से 6 जुलाई 2024 को पोस्ट कर वायरल दावे का खंडन किया है। पोस्ट में लिखा गया है कि वर्ष 2021 में रैणी में आयी आपदा की वीडियो को कतिपय लोगों द्वारा सोशल मीडिया पर पोस्ट कर वर्तमान परिदृश्य से जोड़ कर भ्रामक खबर के रूप में दिखाया जा रहा है, जो सत्य से एकदम परे है। कृपया ऐसी अफवाहों पर ध्यान न दें और ऐसी भ्रामक खबरों से सावधान रहें।

आर्काइव

इसके अलावा चमोली पुलिस ने अपने एक्स अकाउंट पर ही एक और पोस्ट के माध्यम से एक प्रेस नोट जारी कर वायरल वीडियो को फेक बताया है। आर्काइव

हमारे द्वारा खोज में ऐसी कोई भी जानकारी सामने नहीं आई। जिससे इस खबर की पुष्टि हो कि हाल में चमोली में ग्लेशियर फटने या उससे आई आपदा की घटना हो।

इसलिए अंत में फैक्ट क्रेसेंडो ने चमोली में पत्रकार हर्ष खनेड़ा से संपर्क कर वायरल वीडियो पर स्पष्टीकरण लिया। उनके द्वारा यह बताया गया कि वायरल वीडियो अभी का नहीं है। जब ये घटना हुई थी उस वक़्त उस पूरी खबर को उन्होंने कवर किया था। वीडियो 7 फरवरी रविवार 2021 का है। जब अचानक से ही नंदा देवी ग्लेशियर टूट गया था। जिससे अलकनन्दा में बाढ़ आ गयी थी। बांध टूटने से उस समय एनटीपीसी की तपोवन में तपोवन-विष्णुगाड पनबिजली परियोजना बुरी तरह क्षतिग्रस्त हुई थी। इससे रैंणी स्थित ऋषिगंगा पनबिजली परियोजना ने पूरी तरह से जल समाधि ले ली थी। जब ये हादसा हुआ तो सैकड़ों लोग उस टनल में काम रहे थें उनकी मौत हो गयी थी। हादसा ऐसा था कि इसे रेस्क्यू करने में काफी वक़्त लगा था।

इसलिए हम कह सकते हैं कि यह वीडियो साल 2021 का है। उस समय चमोली में ग्लेशियर टूटने से बाढ़ आ गई थी।

निष्कर्ष

तथ्यों के जांच से यह पता चलता है कि वीडियो फरवरी 2021 का है। जब चमोली जिले में ग्‍लेशियर टूटने से भारी तबाही हुई थी। उसी वक्‍त के वीडियो को अभी हुई घटना का बता कर झूठे दावे से शेयर किया जा रहा है।

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Title:उत्तराखंड में 2021 में ग्लेशियर टूटने से हुई तबाही का वीडियो हाल के दावे से वायरल…

Fact Check By: Priyanka Sinha

Result: Missing Context